एबीवीपी प्रत्याशी के नामांकन निरस्त करने की मांग को लेकर एनएसयूआई प्रत्याशी चढ़ा महाविद्यालय के भवन की छत पर
महाविद्यालय प्रशासन ने माना नामांकन सही, नहीं होगा निरस्त, वैध प्रत्याशियों की सूचनी जारी
गोपेश्वर (चमोली)। जिला मुख्यालय गोपेश्वर के छात्र संघ चुनाव में एबीवीपी के उपाध्यक्ष पद के प्रत्याशी का दो महाविद्यालयों में प्रवेश होने का आरोप लगाते हुए बुधवार को एनएसयूआई ने एबीवीपी के प्रत्याशी के नामांकन को निरस्त करने की मांग को लेकर देर रात तक महाविद्यालय के परिसर में नारेबाजी करते रहे, वहीं एनएसयूआई का उपाध्यक्ष प्रत्याशी महाविद्यालय भवन की छत पर चढ़ गया जिसे उतारने के लिए पुलिस और महाविद्यालय प्रशासन को भारी मसकत करनी पड़ी।
बुधवार को नाम वापसी और वैध प्रत्याशियों की सूची जारी होने की तिथि नियत की गई थी। जैसे ही महाविद्यालय में विभिन्न पदो पर चुनाव लड़ रहे प्रत्याशियों की सूची जारी होने का समय आया उससे पहले एनएसयूआई की ओर से महाविद्यालय प्रशासन को एक पत्र सौंपा गया जिसमें उनका आरोप था कि महाविद्यालय छात्र संघ के चुनाव में उपाध्यक्ष पद पर एबीवीपी के प्रत्याशी का गोपेश्वर महाविद्यालय के साथ ही नंदानगर घाट महाविद्यालय में भी प्रवेश है। नियमानुसार एक छात्र एक ही महाविद्यालय में प्रवेश ले सकता और चुनाव लड़ सकता है। लिहाजा एबीवीपी के उपाध्यक्ष पद के प्रत्याशी का नामांकन रद्द किया जाए। देर सांय तक भी जब मामले में कोई कार्रवाई महाविद्यालय प्रशासन की ओर से नहीं की गई तो एनएनयूआई के कार्यकर्ताओं ने महाविद्यालय परिसर में ही धरना देते हुए महाविद्यालय प्रशासन के विरूध नारेबाजी शुरू कर दी। इसी बीच एनएसयूआई का उपाध्यक्ष पद का प्रत्याशी भी महाविद्यालय के भवन की छत पर चढ़कर एबीवीपी के प्रत्याशी का नामांकन वापस लेने की मांग करना लगा। जिससे लेकर महौल काफी गर्मा गया था।
इधर महाविद्यालय की प्राचार्य प्रो. रचना नौटियालय का कहना है कि चुनाव कमेटी की ओर से सभी प्रत्याशियों के नामांकन पत्रों की भली भांति जांच कर ली गई है। जिस छात्र पर दो महाविद्यालयों में प्रवेश लेने का आरोप लगाया जा रहा है। उसने महाविद्यालय गोपेश्वर में प्रवेश लेने की नियमानुसार पूरी प्रक्रिया की है। उसका महाविद्यालय में प्रवेश वैध है और वह चुनाव लड़ने का पूरा हकदार है। यदि इसके बाद भी किसी को काई आपत्ति है तो वह कोर्ट में मामला ले जा सकता है। और कोर्ट में मामला गलत पाया जाता है तो उपाध्यक्ष पद का चुनाव रद्द किया जा सकता है और दूसरे प्रत्याशी को निर्विरोध उपाध्यक्ष बनाया जा सकता है।
कोषाध्यक्ष व सह सचिव पद पर निर्विरोध हुआ निर्वाचन
महाविद्यालय छात्र संघ चुनाव के नाम वापसी के अंतिम दिन नामांकन पत्रों की जांच के बाद जो स्थिति सामने आयी है उसमें कोषाध्यक्ष पद पर अंजली और सह सचिव पद पर पवन सिंह निर्विरोध निर्वाचित हुए है। कोषाध्यक्ष पद पर एक ही नामांकन हुआ था जो अंजली नेगी का था, वहीं सह सचिव पद पर सागर और पवन सिंह ने नामांकन किया था। इस पद पर सागर का नामांकन रद्द होने के बाद पवन सिंह निर्विरोध सह सचिव बन गये है। दोनों की पदों पर एबीवीपी के प्रत्याशी चुनाव लड़ रहे थे। जो निर्विरोध निर्वाचित हुए है।